जोधपुर थाने में तीन दिन तक 3 भैंस बंधी रही। जब एक व्यक्ति ने ये दावा किया कि ये भैंस उसकी है तो पुलिस ने भैंस के बच्चों को थाने में लाने का कहा। मालिक ने ये शर्त भी पुलिस की मान ली और भैंस के बच्चों को लेकर थाने पहुंचा। जब इन्होंने भैंस का दूध पीना शुरू किया तो पुलिस को विश्वास हो गया कि ये भैंस दावा करने वाले व्यक्ति की है।
ये अनूठा मामला है जोधपुर कमिश्नरेट के बनाड़ थाने का। मामला 30 नवंबर का है। पुलिस ने देर रात उदयमंदिर निवासी मोहम्मद शरीफ की गाड़ी से तीन भैंसों को पकड़ा था। हालांकि इस मामले में एफआईआर दर्ज नहीं हुई है लेकिन पुलिस ने भैंस मालिक को पाबंद कर भैंसों को सौंप दिया है।
रात तीन बजे भैंसों को ले जा रहा था इसलिए शक हुआ
बनाड़ थाना एएसआई सुभाष विश्नोई ने बताया कि 30 नवंबर को वे बनाड़ हाईवे पर रात को टीम के साथ गश्त कर रहे थे। इस दौरान मोहम्मद शरीफ तीन भैंसों को गाड़ी में ले जाता हुआ दिखाई दिया। पुलिस को शक होने पर उसे रोककर इन भैंसों के बारे में पूछा लेकिन वह जवाब नहीं दे पाया।
इस पर टीम तीनों भैंसों को थाने लेकर आ गई और वहां बांध दिया। मोहम्मद शरीफ को अगले दिन नाम, पते और अन्य डॉक्युमेंट लेकर अगले दिन थाने में बुलाया। दोपहर तक जब कोई नहीं आया तो पुलिस ने इसका वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर शेयर किया। इस वीडियो में पुलिस ने बताया कि थाने में ये तीन भैंस बंधी हुई है, जिसकी भी है वह इसे ले जाए। लेकिन, रविवार को पूरे दिन कोई भी इन भैंसों को लेने कोई नहीं आया।
जिसकी गाड़ी से पकड़ा वो ही दावा करने पहुंच गया
2 दिसंबर सोमवार को मोहम्मद शरीफ थाने पहुंचा और खुद की भैंस होने का दावा करने लगा। इस पर पुलिस को ही थोड़ा शक हुआ कि जिसकी गाड़ी से भैंस पकड़ी वह अब कैसे मालिकाना हक जता रहा है।
बनाड़ थाने के सीआई प्रेमदान रतनू ने बताया कि मोहम्मद शरीफ का कहना था- उसका उदयमंदिर के गुजरावास में बाड़ा बना हुआ है। उसकी भैंस के बच्चे उसके घर पर बंधे हुए है। वह रात में अपनी भैंसों को अपने घर ले जा रहा था।
सीआई ने बताया-भैंस सही मालिक तक पहुंचे इसके लिए उसे बोला गया कि इनके बच्चों को लेकर आए। सोमवार दोपहर तक मोहम्मद शरीफ भैंसों के बच्चों को लेकर थाने आया। यहां जैसे ही उसने बच्चों को छोड़ा वे अपनी मां के पास दूध पीने के लिए दौड़ गए।
इस पर पुलिस को भी विश्वास हो गया कि ये भैंस मोहम्मद शरीफ की है। सीआई ने बताया कि भैंस सही मालिक तक पहुंचे ये ही उद्देश्य था। इसलिए कोई मामला भी दर्ज नहीं किया गया है।